गौसलापुर (अररिया)।
जिला अररिया के वार्ड नंबर–7 की 45 वर्षीय शीला देवी पर अत्याचार और मारपीट का मामला एक बार फिर सुर्खियों में है। परिवार का कहना है कि करीब दो वर्ष से जेठ के बेटों और बहुओं द्वारा लगातार उत्पीड़न किया जा रहा है। ताजा घटना में शीला देवी गंभीर रूप से घायल होकर घर में बेहोशी की हालत में पड़ी हैं, जबकि पुलिस कार्रवाई अब भी शून्य बताई जा रही है।
खेत से लौटते समय रोका, फिर हमला किया गया
परिजनों के अनुसार, 29 नवंबर की रात करीब 10 बजे शीला देवी खेत की जुताई कर घर लौट रही थीं। उनका रास्ता जेठ के परिवार के घर के सामने से होकर गुजरता है।
आरोप है कि वहां पहुंचते ही संजय सिंह की पत्नी ने उन्हें रास्ते से आने पर रोक दिया।
जब शीला देवी ने कहा कि उनका खेत इसी ओर है, विवाद बढ़ गया।
परिवार का आरोप है कि इसके बाद नागव सिंह, संजय सिंह, मुकेश सिंह, गुड्डू सिंह तथा घर की महिलाओं ने मिलकर लाठी–डंडों से उन पर हमला कर दिया। उन्हें सड़क पर पटककर बेरहमी से पीटा गया, जिससे वे मौके पर ही बेहोश हो गईं।
पड़ोसी नागव सिंह ने उन्हें किसी तरह घर पहुंचाया।
अकेली महिला पर लगातार उत्पीड़न
परिवार के अनुसार, शीला देवी के पति जम्मू में बेलदारी का काम करते हैं। दो बेटे हिमाचल प्रदेश में मजदूरी करते हैं, जबकि बेटी सिंपल कुमारी दिल्ली में अपनी ससुराल में रहती हैं।
घर में अकेली होने का फायदा उठाकर, आरोप है कि जेठ के बेटे–बहू लगातार उन पर दबाव डालते और मारपीट करते रहे हैं।
शिकायत करने पर पूर्व सरपंच पर भी मारपीट का आरोप
शीला देवी का कहना है कि जब उत्पीड़न बढ़ा तो उन्होंने इसकी शिकायत गांव के पूर्व सरपंच तौहीद रहमान से की।
लेकिन उनका आरोप है कि शिकायत करने पर पूर्व सरपंच ने भी उनके साथ मारपीट की और मामले को दबाने का प्रयास किया।
पुलिस को कई बार सूचना, कार्रवाई नहीं
परिवार का कहना है कि ताजा घटना के बाद बेटी सिंपल कुमारी ने तुरंत पुलिस को फोन कर सूचना दी, लेकिन पुलिस मौके पर नहीं पहुंची।
इसके पहले भी कई घटनाओं में शिकायतें दी गई थीं, मगर अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।
परिवार की जिला प्रशासन से गुहार
परिजन मांग कर रहे हैं कि:
शीला देवी को तुरंत मेडिकल सहायता उपलब्ध कराई जाए
सभी आरोपितों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाए
अकेली महिला को मिल रही धमकियों और हिंसा पर तत्काल रोक लगाकर सुरक्षा सुनिश्चित की जाए
परिवार का कहना है कि यदि प्रशासन ने जल्द हस्तक्षेप नहीं किया, तो उनकी स्थिति और गंभीर हो सकती है।




