मैं, राजेश कुमार, आम जनता की आवाज बनकर यह बात पूरे देश को बताना चाहता हूं कि आज डॉक्टर जिन्हें भगवान का दर्जा दिया जाता है, वही डॉक्टर राक्षस जैसा व्यवहार कर रहे हैं। ताजा मामला मध्यप्रदेश के छतरपुर जिला चिकित्सालय का है, जहां एक मरीज उधो लाल जोशी OPD क्रमांक 14 में घंटों डॉक्टर का इंतजार करता रहा।
जब डॉक्टर राजेश मिश्रा अस्पताल पहुंचे, तो मरीज ने बस इतना पूछा कि “डॉक्टर साहब, आपके आने का समय क्या है?” इस पर डॉक्टर भड़क उठे और उधो लाल जोशी को कान के ऊपर थप्पड़ जड़ दिया, और गुस्से में उसे लात-घूंसे मारते हुए ओपीडी से बाहर घसीट ले गए। पीड़ित की पत्नी को भी एक घूंसा मारा गया, जो कि खुद इलाज के लिए आई थी।
सवाल यह है कि क्या अस्पतालों में मरीजों की इज्जत नहीं बची? क्या डॉक्टरों को कोई डर नहीं?
घटना सामने आने के बाद जिला अस्पताल के सिविल सर्जन ने वही रटा-रटाया जवाब दिया — “जांच की जाएगी, टीम गठित होगी।” लेकिन देश की जनता जानती है कि इन टीमों से कुछ नहीं होता। सिर्फ कागज़ी कार्रवाई और आरोपियों को बचाने की कोशिश होती है।
इससे पहले भी कई मामले सामने आ चुके हैं:
शहडोल में श्रीराम हेल्थ केयर सेंटर में हुई संदिग्ध मौतों की फर्जी जांच।
दमोह मिशन हॉस्पिटल में फर्जी डॉक्टर के कारण हुई 7 मौतें।
रतलाम में कोमा में बताया मरीज अस्पताल से बाहर घूमता मिला।
जबलपुर मेडिकल में जीवित मरीज को मृत घोषित कर दिया गया।
माननीय मुख्यमंत्री जी स्वास्थ्य मंत्रालय डॉक्टर को भगवान के रूप में देखते हैं इस समय डॉक्टर लोग रक्षा का रूप धारण कर लिए हैं श्रीमान महोदय जी अभी छतरपुर स्वास्थ्य चिकित्सालय मरीज उधो लाल जोशी ओपीडी क्रमांक 14 में बैठे रहे और डॉक्टर का इंतजार कर रहे थे तब डॉक्टर साहब आए राजेश मिश्रा फिर मरीज ने डॉक्टर से पूछा कि आपके आने का टाइम क्या है फिर डॉक्टर राजेश मिश्रा भड़क गया मरीज को एक झापड़ मार दिया कान के ऊपर फिर डॉक्टर राजेश मिश्रा अपनी ओपीडी से मरीज को घसीटता हुआ लात घुसे मारते हुए बाहर तक ले गया पेशेंट उधो लाल की पत्नी को एक घूंसा मारा जिसका वह इलाज कराने ले गया रहा श्रीमान महोदय जी हम लोग डॉक्टर को भगवान का रूप मानते हैं और आज के डॉक्टर लोग दरिंदे राक्षस बन गए हैं वहां का सिविल सर्जन बोल रहा है कि उनकी हम जांच करवाएंगे और टीम गठित करेंगे श्रीमान महोदय जी स्वास्थ्य चिकित्सालय के डॉक्टरों की टीम गठित ही होती है और कुछ भी नहीं होता है माननीय उच्च न्यायालय ने आदेश किया सीएमएचओ शहडोल को श्री राम हेल्थ केयर सेंटर हॉस्पिटल की जांच की जाए उस प्राइवेट हॉस्पिटल में कई हत्याएं हुई सीएमएचओ एम एस सागर एवं पुलिस प्रशासन के एडिशनल एसपी मुकेश वैश्य ने जांच करने के लिए फर्जी टीम बनाई पुलिस प्रशासन और स्वास्थ्य चिकित्सालय श्री राम केयर सेंटर हॉस्पिटल के हत्यारो को बचा दिया हमारे देश में कोई अप्रिय घटना घटती है प्रशासन एवं अधिकारी लोग यही बोलते हैं की जांच करवाएंगे और जांच करने के लिए टीम गठित कर दी गई है अधिकारी लोगों को इनके अलावा कोई जवाब ही नहीं होता है दमोह मिशन हॉस्पिटल फर्जी डॉक्टर के इलाज के कारण 7 मरीजों की मृत्यु हो गई वहां का प्रशासन और स्वास्थ्य चिकित्सालय मिशन हॉस्पिटल की न्यूज़ हैडलाइन होने लग गई तब वहां का प्रशासन के लोगों ने दो महीनो के बाद जांच करवाएंगे और उस फर्जी डॉक्टर को प्रयागराज से गिरफ्तार कर लिया गया अस्पताल के प्रबंधक अजय लाल और बाकी लोगों की एक सप्ताह के बाद यफ आई आर दर्ज हुई उन लोगों को फरार करने एवं भागने में वहां का प्रशासन और स्वास्थ्य चिकित्सालय उन लोगों ने मदद किया श्रीमान महोदय जी रतलाम एक प्राइवेट हॉस्पिटल गीता देवी मरीज को एडमिट करके और कुछ देरी के बाद वहां के डॉक्टरों ने बोला कि मरीज कोमा में चला गया है और मरीज आईसीयू रूम से निकलकर बाहर घूम रहा था जबलपुर मेडिकल हॉस्पिटल में एक जीवित मरीज को वहां के डॉक्टरों ने मृत्यु घोषित कर दिया श्रीमान महोदय जी स्वास्थ्य व्यवस्था मरीज पेशेंट के लिए अति आवश्यक है हर मरीजो को जरूरत पड़ती है स्वास्थ्य चिकित्सालय डॉक्टर सीएमएचओ प्राइवेट हॉस्पिटल के प्रबंधक आज के तारीख में मरीजों के ऊपर कितना डर दरिदरी कर रहे हैंऔर कुढ़ता कर रहे हैं आज स्वास्थ्य चिकित्सालय की लचर व्यवस्था है राजेश कुमार विशन दासानी
हमारी मांग है:
डॉक्टर राजेश मिश्रा पर तुरंत FIR दर्ज की जाए।
छतरपुर जिला अस्पताल की उच्चस्तरीय जांच हो।
स्वास्थ्य मंत्रालय दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करे।
आम जनता को न्याय मिले।
आज देश की स्वास्थ्य व्यवस्था बीमार है। डॉक्टर इलाज नहीं, अत्याचार कर रहे हैं। और प्रशासन सिर्फ जांच और टीम बनाने में लगा है।
क्या यही है नया भारत का स्वास्थ्य मॉडल?