जहांगीर चांपा (छत्तीसगढ़), 4 जुलाई –
जिला जहांगीर चांपा के रहने वाले संतोष राव मानिकपुरी ने गंभीर आरोप लगाते हुए अपने बेटे सुमित दास मानिकपुरी (उम्र 21 वर्ष) की हत्या का मामला उठाया है। परिजनों का दावा है कि 4 जुलाई की दोपहर 1 बजे सुमित को कुछ लोगों ने बेरहमी से पीटा और फिर एक ऊँची इमारत की छत से फेंक दिया।
मृतक के पिता संतोष राव ने बताया कि सिमरन यादव नामक युवती उनके बेटे से एकतरफा प्यार करती थी और पिछले एक साल से उसके घरवाले सुमित पर जबरन शादी का दबाव बना रहे थे। सुमित ने कई बार साफ कर दिया था कि वह शादी नहीं करना चाहता, क्योंकि उसे लड़की का व्यवहार ठीक नहीं लगता था।
संतोष राव मानिकपुरी ने आरोप लगाया कि सिमरन यादव और उसके परिजन—सुक्रिता यादव, रमाशंकर (मध्य प्रदेश निवासी), और प्रकाश (पिता धनीराम)—लगातार धमकियां दे रहे थे। इसी तनाव के चलते 4 जुलाई को सुमित को घड़ी गांव के पास स्थित टावर नंबर 15 पर बुलाया गया, जहां पहले उसकी पिटाई की गई और फिर छत से नीचे फेंक दिया गया।
हैरानी की बात यह है कि हादसे के समय सुमित के पिता महज 500 मीटर की दूरी पर मजदूरी कर रहे थे। वहां मौजूद अन्य श्रमिकों और बिल्डर ने भी घटना के बाद सुमित के परिवार को समर्थन देने का आश्वासन दिया था, लेकिन अब बिल्डर डी एस गुप्ता पीछे हटते दिख रहे हैं। संतोष राव का आरोप है कि पुलिस ने भी मामले को दबा दिया है और इसे “छत से गिरने” का सामान्य हादसा बताकर केस दर्ज किया है।
परिजन मांग रहे हैं न्याय
सुमित मेहनतकश युवक था और अपने परिवार का सहारा था। उसके पिता ने कहा, “हमने अपने बेटे को खो दिया है, लेकिन पुलिस और बिल्डर सभी चुप हैं। हमें न्याय चाहिए, नहीं तो हम संघर्ष करेंगे।”
इस मामले में अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है। पीड़ित परिवार ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री और पुलिस महानिदेशक से न्याय की गुहार लगाई है।